भारत का मान बिन्दु ,तिरंगा यह झंडा हमारा |मर के अमर हो जाना, पर ये झंडा ना झुकाना ||लाखों चढ़े थे शमा पर किंतु बुझने न दी ये ज्योति |बलिदानों की ये कथाएँ बातों में ना तुम भुलाना ||बूंदी की शान कुम्भा ने, मेवाड़ में लड़कर बचायी |उसने नकली किला बचाया, तुम असली निशां ना […]
हम भूल चुके है हाँ हम भूल चुके है जिस पीड़ा को उसको फ़िर उकसानी है |केसरिया झंडा सुना रहा है हमको अमर कहानी || ऋषि मुनियों की जन्म भूमि यह भारत इसका नाम देवों की अवतार भूमि यह सतियों का प्रिय धाम दूर देश से भिक्षुक आते थे विद्या के काम इतिहास बताते हाँ […]
Rajul Shekhawat तन-मन से है नारा मेरा , बोलो जय भवानी | धिक्कार है उन राजपूतों को ,खोदी जिन्होंने अपनी जवानी || तन-मन से है नारा मेरा , बोलो जय भवानी | कायर नही आज हम , दुनिया को यह आज बतानी || हम जन रक्षक रहे सदा से , क्षात्र धर्म का यह नारा […]
विविधायुध वान रखे नितही , रण से खुश राजपूत वही |सब लोगन के भय टारन को ,अरी तस्कर दुष्टन मारन को |रहना न चहे पर के वश में ,न गिरे त्रिय जीवन के रस में |जिसके उर में शान्ति रही ,नय निति रखे राजपूत वही |जननी भगनी सम अन्य त्रिया, गिन के न कभी व्यभिचार […]
सन अट्ठारह सौ पैंतीस में रानी झांसी ने था जन्म लियाभारत की सोई जनता को उसने स्वतंत्रता पाठ पढ़ा दियादिखला दिया उसने फ़िरंगी को, है सिंहनी भारत की नारीजिसे देख के वो तो दंग हुए, पर गद्दारों ने मार दिया अकसर बालक बचपन में हैं खेलते खेल खिलौनों सेपर शुरु से ही इस कन्या ने […]
क्षत्रिय कुल में जन्म दिया तो ,क्षत्रिय के हित में जीवन बिताऊं |धर्म के कंटकाकीर्ण मग पर ,धीरज से में कदम बढ़ाऊँ ||भरे हलाहल है ये विष के प्याले ,दिल में है दुवेष के हाय फफोले |जातीय गगन में चंद्र सा बन प्रभु, शीतल चांदनी में छिटकाऊँ ||विचारानुकुल आचार बनाकर ,वास्तविक भक्ति से तुम्हे रिझाऊँ […]
धन्य हुआ रे राजस्थान,जो जन्म लिया यहां प्रताप ने। धन्य हुआ रे सारा मेवाड़, जहां कदम रखे थे प्रताप ने॥ फीका पड़ा था तेज़ सुरज का, जब माथा उन्चा तु करता था। फीकी हुई बिजली की चमक, जब-जब आंख खोली प्रताप ने॥ जब-जब तेरी तलवार उठी, तो दुश्मन टोली डोल गयी। फीकी पड़ी दहाड़ शेर […]