35.3 C
Rajasthan
Tuesday, September 26, 2023

Buy now

spot_img

भारत माँ की आवाज़ : कमलेश चौहान (गौरी)

चिता पर जब ऐ ! मेरे वीरो तुम्हारा ठंडा जिस्म भेंट किया होगा।

आग का हर शोला लेकर तुम्हारा नाम बन्दे मातरम कहता होगा।

भारत माँ भी तेरे कदमों में तड़प तड़प कर कैसे रो उठी होगी।

तेरी चिता की धूल लहरा, रोती हुई यूँ मस्तक झुका गयी होगी।

गंगा जमुना की लहरें भी उछल उछल कर तुझे प्रणाम करती है।

तेरी वीरता तेरी देश भक्ति देख कर दुश्मन को भी हैरान करती है।

जब जब गिरी होगी भारत की जिस सीमा पर गर्व से तेरे लहू के बुँदे।

उगा न होगा उस दिन भी सूरज,, सिसक कर रोई होंगी चाँद की किरणें।

फिर सुना है, सीमा से आ रही हवाओं से तेरी आवाज में बन्दे मातरम।

भेजा है तूने सन्देशा हमे स्वर्ग लोक से भारत माँ को आजाद रखेंगे हम।

कसम खा लो मेरे भारतवासियो आज मेरे देश की कमान को तुम संभालो।
बन कर देश के रक्षक बेच रहे है भारत को उन्ही को देश से बाहर निकालो ।

लेखिका – कमलेश चौहान (गौरी)

Copy Right @ Kamlesh Chauhan

Related Articles

4 COMMENTS

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

Stay Connected

0FansLike
3,872FollowersFollow
21,200SubscribersSubscribe
- Advertisement -spot_img

Latest Articles